गझल |
कुपी |
आनंदयात्री |
गझल |
पुसणारे नसताना कोणी अश्रू ढाळायचे कशाला... |
मयुरेश साने |
गझल |
आता |
अनिल रत्नाकर |
गझल |
''वाटतो जरी प्रसन्न मी वरुन'' |
कैलास |
गझल |
चल पुढे |
भूषण कटककर |
गझल |
स्वीकार आशयाची |
भूषण कटककर |
गझल |
रस्ता |
अनिरुद्ध अभ्यंकर |
गझल |
नाव तुझ्या ओठावर... |
वैभव देशमुख |
गझल |
माणसे |
बापू दासरी |
गझल |
किनारा गाठण्यासाठी |
बेफिकीर |
गझल |
शब्द माझे |
वैभव जोशी |
गझल |
ध्वस्त |
मधुघट |
गझल |
'' तीळ '' |
कैलास |
गझल |
टाहो... |
अजय अनंत जोशी |
गझल |
शोधतो आहे... |
मधुघट |
गझल |
...काय करू मी ? |
प्रदीप कुलकर्णी |
गझल |
स्मशानात जागा हवी तेवढी |
गंगाधर मुटे |
गझल |
असोशी.... |
अमित वाघ |
गझल |
ज्या क्षणी मी थांबलो, ती थांबली |
जयदीप |
गझल |
उदास...! |
प्रदीप कुलकर्णी |
गझल |
ह्या मनाचे, दुश्मनाचे काय करावे ?.... |
खलिश |
गझल |
परिस्थितीच्या उन्हात... |
जनार्दन केशव म्... |
गझल |
हझल वाचा, हझल ! |
भूषण कटककर |
गझल |
...घट एकांतात झरावा ! |
प्रदीप कुलकर्णी |
गझल |
निघाले अर्थ नाही ते तुझ्या वाटेत येण्याचे |
विजय दि. पाटील |